काश !
मै कबूतर होता !
ह्रदय की गहराइओ के
सागर से अपरिचित ,
हवाओं के जोंको पर पंख पसारे
नील गगन में उड़ता ;
होता भी मै तोता ,
काश ! एकलौता
दूर का राही
अकेला ;
आश छोड़ कर
हमराही की ,
जीवन की गुमराहो में ,
कहाँ , कभी , क्यू
रुक जाता ,
रैन बसेरा कर पाता ;
काश !
मुज़े ना पुकारती
मधुबन की मंजिले
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Lonavala
13 May 1977
मै कबूतर होता !
ह्रदय की गहराइओ के
सागर से अपरिचित ,
हवाओं के जोंको पर पंख पसारे
नील गगन में उड़ता ;
होता भी मै तोता ,
काश ! एकलौता
दूर का राही
अकेला ;
आश छोड़ कर
हमराही की ,
जीवन की गुमराहो में ,
कहाँ , कभी , क्यू
रुक जाता ,
रैन बसेरा कर पाता ;
काश !
मुज़े ना पुकारती
मधुबन की मंजिले
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Lonavala
13 May 1977
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In The Confusion Of Life
If only
!
I would have been a pigeon!
from the depths of the heart
unfamiliar with the ocean,
spread wings on the leeches of the wind
Flying in the blue sky;
Even if I were a parrot,
If only ! the only one
distant traveler
alone ;
giving up hope
Of our companion,
In the confusion of life,
where, when, why
would have stopped,
Would have been able to do night shelter;
If only !
don't call me
floors of madhuban
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Translated In Google Translate - 13/03/2024
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