मैंने आज रोना चाहा
पर ज़माने से छुपा कर मुहं ,
कैसे रोऊ ?
'गर आज
तेरा आँचल होता
तो मेरा काम बन जाता ;
क्या मेरे अश्क को
तेरे ज़ुल्फोमें
छिपा रखोगी ?
जब रो न शका
सरेआम ,
तब बादलो से कहा ,
" न तुम्हे परवाह ज़माने की ,
न फ़िक्र किसी से छिपने की ,
गरज गरज कर बरसो ,
जा कर अलकापुरी
पूछो पिया को ,
क्या दे पाओगी तेरी
लाल पिली चुनरी ?
उसे ओढ़ कर सोने की
आश में
सह्याद्रि की चोटि पर
बैठा है यक्ष तेरा,
फिर हर सावन
इन तवारीखों में,
मेरे आंसू बन
बहेंगे जो झरने
उसे क्यूँ छुपाऊं ?
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19 July 2019 / Mumbai
पर ज़माने से छुपा कर मुहं ,
कैसे रोऊ ?
'गर आज
तेरा आँचल होता
तो मेरा काम बन जाता ;
क्या मेरे अश्क को
तेरे ज़ुल्फोमें
छिपा रखोगी ?
जब रो न शका
सरेआम ,
तब बादलो से कहा ,
" न तुम्हे परवाह ज़माने की ,
न फ़िक्र किसी से छिपने की ,
गरज गरज कर बरसो ,
जा कर अलकापुरी
पूछो पिया को ,
क्या दे पाओगी तेरी
लाल पिली चुनरी ?
उसे ओढ़ कर सोने की
आश में
सह्याद्रि की चोटि पर
बैठा है यक्ष तेरा,
फिर हर सावन
इन तवारीखों में,
मेरे आंसू बन
बहेंगे जो झरने
उसे क्यूँ छुपाऊं ?
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19 July 2019 / Mumbai
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Will you keep it hidden in your hair?
i felt like crying today
But hiding my face from the world,
How should I cry?
'Gar today
would have been your lap
Then my work would be done;
what about my tears
in your hair
Will you keep it hidden?
When I couldn't cry
openly ,
Then said to the clouds,
"Don't you care about the world,
Don't worry about hiding from
anyone,
Let it rain with thunder,
go to alkapuri
Ask Piya,
what can you give me
Red yellow chunari?
to cover it up and sleep
in hope
on top of Sahyadri
Your Yaksha is sitting,
again every monsoon
In these dates,
become my tears
the waterfalls that will flow
Why should I hide it?
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Translated In Google Translate - 26/02/2024
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